Monday, August 20, 2012

मुबारक... मुबारक....!!!!





आप सभी को ईद की ढेर सारी मुबारकबाद !!!


ये महीना तो त्योहारों का महीना है एक के बाद एक ढेर सारे त्योहार.... हमारे देश में त्योहारों की कमी नहीं... हिन्दू , मुस्लिम, सिक्ख, ईसाई सभी के त्योहार बड़े ही उत्साह के साथ मनाये जाते हैं... इसके अलावा विविधता से भरे हमारे देश के किसी भी प्रान्त में चले जाइये तो वहाँ के भी विशिष्ट त्योहार उतनी ही धूमधाम और श्रद्धा के साथ मनाये जाते हैं... हम बड़े ही गर्व से कहते हैं कि हमारा देश विविधता में एकता वाला देश है... अलग-अलग प्रान्त... अलग-अलग वेश-भूषा और अलग-अलग बोलियों के बावजूद हम सब एक हैं... शुरू से ही हम स्कूलों में और घरों में यही सीखते और जानते चले आ रहें हैं और हमें अपनी इस अनूठी एकता पर गर्व भी होता है...


लेकिन जब मैं दो दिन पहले समाचार देख रही थी तो मैंने देखा कि कैसे उत्तर-पूर्वी भारत के लोग डर के मारे बैंगलोर से भाग रहे हैं तो मैं बहुत घबरा गई मुझे ये सब देखकर ज़रा भी अच्छा नहीं लग रहा था... कभी मुंबई तो कभी बैंगलोर तो कभी कहीं और... आए दिन इस तरह की घटनाएँ होती रहती हैं और तब मैं सबसे यही पूछती हूँ कि ऐसा क्यों हो रहा है...?? मुझे बहुत दहशत होती है... मैं किसी के भी उत्तर से संतुष्ट नहीं हो पाती... जब हम सब भारतीय हैं, पूरा देश हमारा अपना है तो फिर हम अपने ही देश में कहीं भी क्यों नहीं रह सकते...??? अपने ही देश के अंदर अलग-अलग प्रान्तों के बीच ये भेद-भाव क्यों...??? मुझे ये सब सोच कर बहुत घबराहट होती है ऐसा क्यों होता है ???... 

मेरा ननिहाल उत्तर-प्रदेश में है, ददिहाल झारखंड में हैं और मैं इन दो जगहों के अलावा बिहार और छत्तीसगढ़ में भी रह चुकी हूँ और फ़िलहाल आज कल मैं गुजरात में हूँ... मुझे तो कोई अंतर नहीं लगता... सब जगह एक जैसी ही प्यारी लगती है... वही धरती वही आसमान... तो क्या मुझे यहाँ नहीं रहना चाहिये... ?????


जहाँ एक दिन मैंने ये न्यूज़ देखी वहीं दूसरे ही दिन किसी चैनल पर दिखाया जा रहा था कि कुछ लोग पाकिस्तान से भागकर भारत आए हैं और वो शरणार्थी कैम्प में रह रहें हैं... उनका कहना है कि वो यहाँ सब्जी बेचकर भी अपना पेट पाल लेंगे लेकिन वापस पाकिस्तान नहीं जायेंगे क्योंकि वो यहाँ ज़्यादा सुरक्षित हैं... तो मैं ये सोच में पड़ गयी कि ये कैसी कंट्रोवर्सी है... एक तरफ़ तो हमारे देश में दूसरे देश से आए लोगों का स्वागत किया जा रहा है और वहीं दूसरी तरफ़ हम अपने देश के अंदर ही एक से दूसरे प्रान्त वालों के प्रति बैर भाव रख रहे हैं.... आखिर ऐसा क्यों है.....???
  
हमें इन सब छोटी-छोटी बातों से ऊपर उठकर पूरे देश के बारे में सोचना चाहिए... ओलंपिक में मेडल्स जीतने वाले गगन नारंग, सायना नेहवाल, योगेश्वर दत्त, विजय कुमार, मेरी कॉम, सुशील कुमार आदि सभी अलग-अलग प्रान्त से हैं लेकिन उन्होंने ये पदक जीतकर किसी एक प्रान्त का नहीं बल्कि पूरे देश का नाम रोशन किया है... हम सबको गर्व है इनपर 


तो आइये प्रेम और भाईचारे के इस त्यौहार को हम सच्चे अर्थों में मनाएं और एक दूसरे के साथ प्यार और खुशियाँ बाँटे... बिना किसी भेद-भाव के.... 


ईद मुबारक हो तुझे ऐ मेरे वतन
हमारी दुआओं का कुछ ऐसा हो असर
मुहब्बत की खुशबू से महक उठे हर चमन 



Saturday, August 18, 2012

परियोजना कार्य: Hindi and English





हेलो फ्रेंड्स,
11 अगस्त को मेरे स्कूल में पुस्तक मेला (Book Fair) था... मैने और भाई ने कई किताबें खरीदीं.... मुझे अच्छी-अच्छी किताबें पढ़ना बहुत पसंद है हिन्दी और अंग्रेजी दोनों ही भाषाओं में मैंने बहुत सी किताबें पढ़ी हैं... 


किताबें मेरी सबसे अच्छी और सच्ची फ्रेंड्स हैं.... आर्ट एंड क्राफ्ट और किताबें पढ़ना ये दो मेरी सबसे ज़्यादा पसंदीदा हॉबीज़ हैं.....और इसीलिए मेरे स्कूल में मिलने वाला समर वेकेशन प्रोजेक्ट मुझे बहुत पसंद है....

हमें समर वेकेशन में हिन्दी और इंग्लिश दोनों ही भाषाओं की कुछ किताबों की लिस्ट दी जाती है उनमें से जितनी हो सके हमें पढ़नी होती है और दोनों ही भाषाओं की एक-एक बुक का बुक रीव्यू (Book Review)  लिखना होता है (A book review is a short description of a particular story which a person has read.) और फिर फ़ाइल को अपनी इच्छानुसार सजाना भी होता है... मुझे ये कार्य करना बहुत ही पसंद है...

पिछली बार समर हॉलीडे में पहली बार मुझे ये प्रोजेक्ट मिला और तभी पहली बार मुझे बुक रीव्यू का मतलब समझ में आया..... मैंने बहुत मन लगाकर उसे तैयार किया और अपनी वो फ़ाइल देखकर मुझे बहुत खुशी होती है.... मुझे इनपर मेरी टीचर्स के भी बहुत ही अच्छे-अच्छे रिमार्क्स मिले....

आज मेरा मन कर रहा है कि मैं अपने ब्लॉग पर भी इन्हें शेयर करूँ.......
तो ये रहे मेरे बुक रीव्यूज़ यानि पुस्तक अवलोकन.......और हाँ इन सारे पेपर्स पर स्टोरी से रिलेटेड जितनी भी ड्राइंग्स बनी हैं वो सब मैंने खुद ही बनाई हैं.....

Class 4:- This is the book review of the Noddy series's book-- "Mr. Plod and the Sore Arm"  Author of the book is-- Enid Blyton













ये मुंशी प्रेमचंद  की कहानी "तेंतर" का पुस्तक अवलोकन है....












Class 5:- This is the book review of Enid Blyton's Famous Five Series's third book "Five run away together"   













ये मुल्ला नसरुद्दीन के किस्सों पर आधारित उपन्यास "मुल्ला नसरुद्दीन बुखारा में" का पुस्तक अवलोकन है..... 










You can click any page to see it in enlarged way.....





Wednesday, August 15, 2012

स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ !!!



झंडा ऊँचा रहे हमारा | विजयी विश्व तिरंगा प्यारा || 


आप सभी को स्वतंत्रता दिवस की हार्दिक शुभकामनाएँ !!!

स्वतंत्रता यानि आज़ादी.... भारतवासियों ने बड़ी ही मुश्किलों से सैकड़ों कुर्बानियों के बाद गुलामी की जज़ीरों को तोड़कर आज़ादी हासिल की.... महात्मा गाँधी, चाचा नेहरू जैसे हमारे पूर्वजों के दृढ़ संकल्प और अदम्य साहस की वजह से आज हम आज़ाद हवा में साँस ले रहे हैं... गुलामी की जलालत भरी जिंदगी से हम कोसों दूर हैं... 
   
हमने अंग्रेजों के जुल्मों से तो मुक्ति पा ली... पर देश में बढ़ते भ्रष्टाचार, अन्याय, हिंसा आदि से हम कब और कैसे मुक्त होएँगे...? शहीद भगत सिंह, चंद्रशेखर आजाद, सुभाष चन्द्र बोस आदि के बलिदान को क्या हम यूँ ही व्यर्थ जाने देंगे...? सीमा पर चौबीसों घंटे भयंकर गर्मी-सर्दी के बीच कठिन दिनचर्या के बीच भी मुस्तैद रहकर देश की सुरक्षा में तैनात रहने वाले हमारे जांबाज़ सैनिकों की तपस्या का क्या हम यही प्रतिफल देंगे...?

नहीं...! हरगिज़ नहीं...!!! हमारा ये भारत वर्ष सारे जहाँ में सबसे अच्छा है और हमेशा रहेगा... इसकी स्वतंत्रता, अखंडता और एकता की सुरक्षा हम स्वयं करेंगे... सारी बुराइयों को दूर हटाकर एक सुन्दर निष्कलंक राष्ट्र की स्थापना करेंगे... और इसकी शुरुआत हमें खुद से ही करनी होगी... हम खुद सच्चे और सही मार्ग पर चलेंगे और दूसरों को भी प्रेरित करेंगे.... 

हम दुनिया के किसी भी कोने में चले जाये... हमारी पहचान न हिन्दू होगी. न मुसलमान, न सिक्ख, न ईसाई..... हम होंगे सिर्फ़ और सिर्फ़ हिन्दुस्तानी !!!
तो चलिए एक बार हम सब मिलकर बोलें-----

सारे जहाँ से अच्छा हिन्दोस्तां हमारा !!
जय हिंद !!! 

Friday, August 10, 2012

गोविंदा आला रे आला.....



नन्द के आनन्द भयो  
जय कन्हैया लाल की !!

मेरे प्रिय दोस्तों...आप सभी को श्रीकृष्ण जन्माष्टमी की ढेरों शुभकामनाएँ....आज ही हम सबके नन्हे-नटखट बाल कृष्ण का जन्म हुआ था... तो, 
          Happy Birthday Krishna !!!

पटना में तो हम ये पर्व खूब धूम- धाम से मनाते थे...अपार्टमेंट की लड़कियाँ राधा और लड़के नटखट कन्हैया के वेश में नृत्य कर सबका मनोरंजन करते थे.... और ठीक बारह बजे अपार्टमेंट तो चहक उठता था... क्योंकि, तब जन्म होता था- नटखट कान्हा, कृष्ण, कन्हैया, माखन चोर का..!!!! 

पिछले वर्ष की जन्माष्टमी पर हम गाँधीधाम में ही थे... पटना जैसा मज़ा हम यहाँ तो ना कर पाए पर फिर भी हमने उस दिन लगे कृष्ण मेले तथा झाँकियों की सैर की थी...

एक स्थान की झाँकी बहुत स्पेशल थी... बिलकुल अलग तरह की.... वहाँ पर बहुत से बच्चे कृष्ण, राधा, कंस, वासुदेव, देवकी आदि  पौराणिक चरित्र की वेश -भूषा में थे और वे सब नृत्य अथवा नाट्य प्रस्तुत कर रहे थे....

गायत्री मंदिर परिसर में माखन-मटकी लटकायी गयी थी और साथ ही गीत-संगीत की तैयारियाँ चल रहीं थीं... माखन-मटकी का कार्यक्रम देर रात को होना था और अगले दिन मुझे स्कूल भी जाना था इसलिए हम सब इसका आनंद नहीं ले पाए... 

उन झाँकियों की एक झलक आप भी देखिये.....














Monday, August 6, 2012

Hiroshima day

                                                             Picture courtesy:  Google
                         
आज हिरोशिमा डे है... पता है हिरोशिमा डे का अर्थ क्या है?...

द्वितीय विश्व युद्ध  (IInd World War ) के समय 1945 में अमेरिका ने जापान के दो शहर- हिरोशिमा तथा नागासाकी पर परमाणु बम गिराया था| इस खतरनाक बम ने जैसे ही इन दो शहरों की धरती को छूआ, चारों तरफ़ अफ़रा-तफ़री मच गयी... न जाने कितने बच्चे, औरतें, आदमी, जीव-जंतु, वनस्पति उस तबाही में मारे गए... उन दोनों शहरों में तबाही के बाद कुछ भी न बचा था... न कोई मनुष्य, न कोई जानवर और न ही कोई पेड़-पौधे... सबसे पहले अमेरिका ने 6 अगस्त 1945 को हिरोशिमा पर बम गिराया और उसके ठीक तीन दिन बाद यानि 9 अगस्त को परमाणु बम ने नागासाकी की भूमि पर तबाही मचा दी... मैंने जब उस भयंकर तबाही के दिल- दहला देने वाले चित्र देखे तो मेरी आखों से आँसू निकल गए...

दोस्तों, विज्ञान हमारी प्रगति और उन्नति का प्रतीक है... लेकिन आज हम विज्ञान का सदुपयोग करने की जगह दुरुपयोग कर रहे हैं... खतरनाक बमों का निर्माण कर अपने ही दोस्तों... अपने ही साथियों को मारने में भला कैसी खुशी... ?.... अनगिनत जीवन को मृत्यु में परिवर्तित कर भला कैसा सुकून....?....कैसी शांति...? 
क्या अपनी शक्ति का यूँ प्रदर्शन करना या फिर खुद को शक्तिशाली सिद्ध करने के लिए अनगिनत प्राणों की आहुति दे देना ज़रूरी है..?....

आज हमें विज्ञान का सही उपयोग करने की शपथ लेनी ही होगी...... लेनी ही होगी... और यही हमारी सच्ची श्रद्धांजलि होगी उस भयानक तबाही में मारे गए अनगिनत प्राणियों के प्रति....!!!



Sunday, August 5, 2012

दोस्ती का दिन....


मेरे सारे दोस्तों को दोस्ती का ये दिन मुबारक हो!!!


Everyone on this Earth need a helpful, lifelong friend. No one can stay alone. So, today's day is dedicated to all my dear friends...Happy friendship day!!!!


In today's busy schedule, many of us, depart from our friends. So, to enjoy at least one day with our wonderful and special friends, US Congress in 1935 declared first Sunday of August as  Friendship Day.


Friendship is the only relationship which depends on our likes and dislikes. Friendship is the strong bond that depicts the relation between two unknown human which turn into best friends. It doesn't means to have a crowd which are not really your best companions. You can have a single one- The one which cares about you- the one who stands beside you in every circumstances- The one who corrects you- the one who appreciates you and the one with whom you can share everything!!!


I also have few companions whom I call as my friends...No matter we live miles away but we'll be always close...:)..I love you my friends...


ये है मेरी दोस्त सिमरन जो पटना में क्लास 2 में मेरे साथ थी...
क्लास के बच्चों की इतनी बड़ी भीड़ में ये मेरी सबसे अच्छी दोस्त थी...!!!!

और....ये है - स्निग्धा 
वैसे मैं इसे प्यार से छोटी, मोटी और अन्य कई नामों से भी पुकारती हूँ :)
पटना में हम दोनों एक ही अपार्टमेंट में रहते थे

ये है किंजल, क्लास 4 में हम दोनों की फ्रेंडशिप हुई, 
इस बार हमारा सेक्शन चेंज हो गया है लेकिन फिर भी 
हम लंच ब्रेक में और एक दूसरे के घर जाकर ढेरों मस्ती करते हैं...

Apart from these, I have some amazing friends which cannot speak but are there with me whenever I need them...
They are the magnificent gift of nature. They are always beside me in every difficulties. Whenever I am tired of walking, they provide me shade...When I am sick, they provide me medicines...Ah! and how can I forget the juicy fruits, they give me... and also they make our world green and help us to stay healthy and clean. So, trees are my best friends- actually, trees are not only my best friends but also the friends of every living being....Therefore save our precious friends...


और फ्रेंड्स...पता है, मेरे सबसे बड़े दोस्त कौन है? उनसे तो मैं अपना सब कुछ शयेर करती हूँ...वे दिनभर मेरे साथ रहते हैं और मुझे डाँटते हैं, हँसाते हैं, और खूब सारा प्यार भी करते हैं और बहुत कुछ सिखाते भी हैं .....जी हाँ ! वो हैं मेरे मम्मी-पापा, भाई और साथ ही साथ आप सब भी.... 


So to all of you  A Very-Very HAPPY FRIENDSHIP DAY!!!








Saturday, August 4, 2012

बहना ने भाई की कलाई से प्यार बाँधा....



रंग-बिरंगी राखी लेकर आई बहना,
ओ राखी बंधवाले मेरे वीर......

2 अगस्त... आखिर वो दिन आ ही गया जिसका मुझे बेसब्री से इंतज़ार था..... आज मैंने अपने भाई को रंग-बिरंगी राखियाँ बाँधी और उसे उन्नति के शिखर पे पहुँचाने के लिए ढेर सारी प्रार्थना की.... 


इस दिन के लिए मैं कई दिन पहले से तैयारियां कर रही थी ये देखिये आरती की थाली...जिसको मैंने खुद से बनाया था..







रक्षाबंधन के दिन.......


सबसे पहले मैंने भाई को टीका लगाया....

फिर मंगल आरती की...

और उसके बाद राखियाँ बाँधी.....




और फिर मिठाई खिलाई...
(जब मिठाई हाथ में हो तो मुँह में पानी तो आएगा ही ना :) 





 भाई ने मुझे लड्डू खिलाया...
बिलकुल अपने शरारती अंदाज़ में.....
जैसे ही लड्डू मुँह के अंदर पहुंचा उसने यूँ ही छोड़ दिया 
ये देखिये....लड्डू सीधा मुँह के अंदर... :)



फिर मैंने भाई को "चॉकलेट का बंगला" दिया
जो उसे बहुत पसंद आया






















वो तो सबसे पहले उन चॉकलेट्स के ही पीछे पड़ गया... फटाफट उसने मुझे भी एक गिफ़्ट दिया और फिर चॉकलेट्स पे टूट पड़ा.....
भाई का गिफ़्ट भी बहुत प्यारा था....  

उसने मुझे एक बहुत प्यारी सी ड्राइंग और एक बैंगल दिया


ये रही वो ड्राइंग जो भाई ने मुझे दी... इस पर उसने जो कुछ लिखा है उसे  मैं एकदम वैसा ही नीचे लिख दे रही हूँ (बिना कुछ सुधार किये)... ताकि आप सब भी उसे पढ़ सकें.....  


I always disturb you and I always tell you toshi 
but now I learnt that you are my best friend in the world 
that is why I should tell you didi and their was also Rakshabandhan .
 I am excited that what you are going to give me 
and I am also excited to eat the tasty sweets. yummmmm....
and you also want to see you photo on the card 
that is why I am going to make your photo OK 
and you no na what Bobby bhaiya said that
 if you not tie the rakhi tightly then he will take your gift 
OK never mind. 
I am going to make your photo. bye..



How sweet!!!....बहुत ही प्यारा तोहफा है ये मेरे नन्हे से भाई का... है ना !!! 



मेरी ज़िंदगी को अपनी हँसी से भर दे....
शरारतों से मुझे परेशान कर दे...
तोहफ़ों से मेरी हथेलियाँ भर दे..
बोलो- बोलो कौन है वो?
वो है मेरा प्यारा- प्यारा भाई शाश्वत...:)




ये रहे वो सारे कार्ड्स जो मैंने अपने भाइयों के लिए बनाये थे..इन सबको मैंने एक हफ्ते पहले ही कोरियर से भेज दिया था...रक्षाबंधन के इस पर्व पर मैं अपने भाइयों के साथ तो नहीं थी पर अपने कार्ड और राखी के द्वारा मैंने उन्हें अपना ढेर सारा स्नेह भेजा था...




और ये रही राखियाँ....





वैसे दोस्तों,  मैंने स्कूल के प्रोजेक्ट के लिए रक्षाबंधन से सम्बंधित चार्ट तथा राखी भी बनायी थी...एक नज़र, इस पर भी डाल लीजिए...


चार्ट

राखियाँ 



अरे एक बात तो मैं आप सबको बताना भूल ही गई... मेरे इस स्कूल में किसी विशेष अवसर और विशेष त्योहारों आदि पर मेंहदी लगाने की इजाज़त है इसलिए कई वर्ष बाद इस बार मैंने मम्मी से अपने दोनों हाथों पर मेंहदी भी लगवाई... देखिये.........



और अब अंत में....

ये है मेरे प्यारे भाई की कलाई,
रंग-बिरंगी, प्यारी-प्यारी,
हम बहनों की राखी वाली,
जिसमें भरा है हमारा ढेर सारा प्यार और आशीर्वाद...







हर बार रक्षाबंधन का दिन तो यूँ ही खत्म हो जायेगा... लेकिन मेरा और मेरे प्यारे भाई का ये अटूट रिश्ता इसी प्रकार सदा बरकरार रहेगा... 

बहना ने भाई की कलाई से प्यार बांधा है...
रेशम की डोरी से संसार बांधा है.... 

I LOVE MY BROTHER SOOOOO MUCH !!!


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